मिशन शक्तिः 2022-23 में दो गुने से अधिक स्वावलंबी हुईं यूपी की मातृशक्ति
लखनऊ: नए भारत का नया उत्तर प्रदेश सफलता की नई कहानी कह रहा है। योगी सरकार ने समर्थ उत्तर प्रदेश के लिए महिला श्रम शक्ति को सशक्त बना दिया है। इनकी समृद्धि के लिए योगी सरकार संकल्पित है। महिलाओं के उत्थान के लिए योगी सरकार ने शनिवार को मिशन शक्ति के चतुर्थ चरण का आगाज किया। नारी सुरक्षा, सम्मान व स्वावलंबन की दिशा में आगे बढ़ते हुए शारदीय नवरात्रि से निरंतर इस पर अनेक आयोजन भी हो रहे हैं। वहीं केंद्र व प्रदेश सरकार की योजनाओं का पारदर्शी ढंग से शत-प्रतिशत लाभ भी यूपी की महिलाओं को मिल रहा है। योगी सरकार की कुशल निगरानी व इच्छाशक्ति के परिणामस्वरूप महज छह वर्ष में महिला श्रम बल की भागीदारी में 17.9 फीसदी की वृद्धि भी हुई। 2017-18 में जहां महिला श्रम शक्ति की भागीदारी महज 14.2 फीसदी थी, वहीं 2022-23 में बढ़कर यह 32.10 फीसदी हो गई है।
छह वर्ष में यूपी में महिला श्रम शक्ति 17.9 फीसदी बढ़ी
आवधिक श्रमबल सर्वेक्षण (पीएलएफएस) रिपोर्ट के मुताबिक यूपी में 2017-18 में महिला श्रम शक्ति 14.2 फीसदी थी। छह वर्षों में सीएम योगी आदित्यनाथ के कुशल मार्गदर्शन में महिलाओं के उत्थान पर विशेष रूप से कार्य शुरू हुआ। सीएम ने इन कार्यों की स्वयं मॉनिटरिंग की तो महज छह वर्ष के भीतर 2022-23 में यह महिला श्रम बल बढ़कर 32.10 फीसदी हो गया। यानी इनकी भागीदारी दर में 17.9 की वृद्धि हुई है, जो दर्शाती है कि योगी के यूपी में सुरक्षा व सम्मान पाकर महिलाएं स्वावलंबन की तरफ तेजी से अग्रसर हुई हैं।
भारत की भागीदारी दर 39.80, यूपी की 32.10 फीसदी
रिपोर्ट के मुताबिक 2022-23 में भारत की भागीदारी दर 39.80 है तो यूपी की 32.10 फीसदी। वहीं 2017-18 में भारत की भागीदारी दर 25.3 फीसदी थी तो उस समय यूपी की भागीदारी दर 14.2 थी यानी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भारत में महिलाओं की सशक्तिकरण पर ध्यान दिया तो योगी आदित्यनाथ ने यूपी में महिलाओं के स्वावलंबन पर। मोदी-योगी की इस जोड़ी ने भारत व यूपी में महिला श्रम शक्ति को निखारते हुए उन्हें अपने पैर पर खड़ा होने का रास्ता दिया।
केंद्र व प्रदेश की योजनाओं का महिलाओं को मिला शत-प्रतिशत लाभ
योगी सरकार महिलाओं से जुड़ी केंद्र-प्रदेश की योजनाओं के क्रियान्वयन व पारदर्शी ढंग से शत-प्रतिशत लाभ दिलाने पर पूरा ध्यान रखी है। केंद्र की बेटी बचाओ-बेटी बचाओ योजना के अंतर्गत यूपी को 1.90 करोड़ बेटियों को जागरूक किया गया। मिशन शक्ति अभियान के तहत 8.99 करोड़ महिलाओं को जागरूक किया गया। 1,89,789 आंगनबाड़ी केंद्र स्वीकृत किए गए, इनमें से 1,89,014 केंद्र संचालित भी हैं। 10 लाख सेल्फ ग्रुप बनाकर एक करोड़ महिलाओं को जोड़ा गया। दो लाख से अधिक महिलाओं को पीएम स्वनिधि योजना से लाभान्वित किया गया। सभी 57 हजार से अधिक ग्राम पंचायतों में बीसी सखी की नियुक्ति की गई। सरकारी नौकरियों में भी डेढ़ लाख से अधिक महिलाओं को यूपी में नौकरी से जोड़ा गया। साथ ही अन्य सभी योजनाओं से महिलाएं लाभान्वित हो रही हैं।