ब्यूरो: यूपी में एनसीईआरटी की इतिहास की किताबों से मुगलों को हटाने के बाद अब यह मामला बढ़ता ही जा रहा है। इस मुद्दे पर राजनीति होने लगी है। ऐसे में मामले को बढ़ता देख एनसीईआरटी के निदेशक दिनेश प्रसाद सकलानी ने इसको लेकर एक ब्यान जारी किया है।
यहां देखें ट्वीट
#WATCH | Dinesh Prasad Saklani, Director of NCERT says, "It's a lie. (Chapters on) Mughals have not been dropped. There was a rationalisation process last year because due to COVID, there was pressure on students everywhere...Expert committees examined the books from std 6-12.… pic.twitter.com/647wdsPSSR
— ANI (@ANI) April 4, 2023
दिनेश प्रसाद सकलानी का कहना है कि यह सरासर झूठ है। अध्याय में मुगलों को किसी भी तरह से छेड़ा नहीं गया है। यह एक वैज्ञानिकीकरण प्रक्रिया थी जो पिछले साल की गई थी। कोरोना के कारण बच्चों पर दबाव पड़ रहा था। जिसके कारण कक्षा 6 से लेकर 12वीं तक की किताबों की जांच की गई।
सिफारिश के बाद ही इन अध्याय को हटाया गया। ताकि बच्चों पर ज्यादा बोझ ना पड़े। इसके अलावा उन्होंने यह भी कहा कि इस बात पर बहस करना बेकार है। इस बारे में जिसे ज्यादा जानकारी नहीं है। वह इसकी जांच करवा सकते हैं।
आपको बता दें कि इससे पहले यह खबरें सामने आ रही थी कि यूपी के स्कूलों में मुगलों के इतिहास के बारे में नहीं पढ़ाया जाएगा। जिसके बाद से यह हंगामा शुरू हो गया था। हालांकि प्रदेश के शिक्षा मंत्री गुलाब देवी ने कहा था कि बोर्ड की 12वीं की पढ़ाई में कोई बदलाव नहीं किया गया है। ऐसी बाते बिल्कुल ना फैलाई जाए। योगी सरकार सबको साथ लेकर चलती है।