Saturday 23rd of November 2024

UP News: राम मंदिर पूर्वजों के बलिदान और भावनाओं की सिद्धि, राम शरण दास जी की पुण्यतिथि कार्यक्रम में बोले CM योगी

Reported by: PTC News उत्तर प्रदेश Desk  |  Edited by: Deepak Kumar  |  November 25th 2023 11:38 AM  |  Updated: November 25th 2023 11:38 AM

UP News: राम मंदिर पूर्वजों के बलिदान और भावनाओं की सिद्धि, राम शरण दास जी की पुण्यतिथि कार्यक्रम में बोले CM योगी

अयोध्या: 'लंबे संघर्ष के बाद मंदिर आंदोलन एक निर्णायक स्थिति में परिवर्तित होकर रामराज्य की आधारशिला पुष्ट करते हुए उसके गुणगान को तैयार हो रहा है। अयोध्या कैसी होनी चाहिए यह इसकी शुरुआत है। भगवान राम साक्षात धर्म के स्वरूप हैं और राम मंदिर पूर्वजों के बलिदान और भावनाओं की सिद्धि है। पहले लोग अपने आप को हिंदू और भारतीय बोलने में संकोच करते थे। आज हर व्यक्ति सनातन व भारतीयता के प्रति सम्मान का भाव रखता है।'

ये बातें शुक्रवार को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने यहां बड़ा भक्तमाल में विराजमान भगवान सीता-वल्लभ को सोने का मुकुट और छत्र अर्पित करने के उपरांत कही। इस दौरान मुख्यमंत्री राम शरण दास जी की पुण्यतिथि पर आयोजित रामायण पाठ कार्यक्रम में शामिल हुए। 

अयोध्यावासियों को निभानी होगी बड़ी जिम्मेदारी 

अपने संबोधन में उन्होंने कहा कि 500 वर्षों तक चले लंबे संघर्ष के बाद रामलला 22 जनवरी को विराजमान होने जा रहे हैं। पीएम मोदी राम मंदिर का उद्घाटन करने आ रहे हैं। ऐसे में अयोध्या वासियों की जिम्मेदारी और बढ़ जाती है। प्राण प्रतिष्ठा के कार्यक्रम को सफल बनाने और उसे ऊंचाई तक ले जाने के लिए अयोध्या वासियों को जिम्मेदारी संभालनी होगी।

'नए भारत' का होगा दर्शन 

मुख्यमंत्री ने कहा कि आज एक नए भारत का दर्शन हो रहा है। दीपोत्सव में 52 देश के राजदूत आए थे। दीपोत्सव का प्रचार 52 देश में हुआ। भविष्य में कई कार्यक्रम होने जा रहे हैं। बड़ा भक्तमाल में मुकुट अर्पण का समारोह भविष्य के कार्यक्रम की आधारशिला है। अयोध्या के सुंदरीकरण की योजना को भी इससे बल मिला है। मानवीय जीवन के सभी हिस्से राम के आदर्शों से प्रेरणा प्राप्त करते हैं। अयोध्या हमेशा से सेवा के प्रति समर्पण की मिसाल रही है। नर सेवा ही नारायण सेवा है, यह यहां के धार्मिक आयोजनों में दिखती है। 

आतिथ्य-सत्कार का आदर्श करना होगा प्रस्तुत

सीएम ने कहा कि 22 जनवरी के बाद अयोध्या में बड़ी संख्या में श्रद्धालु आएंगे। ऐसे में, अयोध्या को आतिथ्य सत्कार का एक आदर्श प्रस्तुत करना होगा। यही प्रभु के महायज्ञ में हम सब की आहुति मानी जाएगी। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि जो भी आए, यहां के आतिथ्य से प्रभावित होकर जाए। यही संदेश अयोध्या से जाना चाहिए। इस अवसर पर देशभर के मठ-मंदिरों के महंतगण व साधु-संत जन मौजूद रहे।

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