रामपुर/लखनऊ: समाजवादी पार्टी के कद्दावर नेता आज़म ख़ान को क़रार झटका लगा है। दरअसल योगी सरकार ने आज़म ख़ान की जौहर यूनिवर्सिटी की ज़मीन को वापस ले लिया है। बताया जा रहा है कि रामपुर की जनता की शिकायत और एसआईटी जांच के आधार पर योगी सरकार ने ये बड़ी कार्रवाई की है। जानकारी के मुताबिक़, रामपुर की जनता की तरफ़ से लगातार इसको लेकर शिकायतें की जा रही थी, जिसके बाद सरकार ने जांच कराई और अब ये बड़ा फैसला लिया है।
इस बाबत अल्पसंख्यक कल्याण एवं पशुधन मंत्री धर्मपाल सिंह की तरफ़ से जानकारी दी गई है। उन्होंने जानकारी देते हुए कहा, “साल 2014 में मोहम्मद अली जौहर विश्वविद्यालय को आज़म ख़ान ने बनाया था, उनका लक्ष्य था कि अरबी, उर्दू, फरसी के विषय ख़त्म हो रहे हैं, उन विषय पर वो यहां छात्र रिसर्च करवाएंगे, यहां छात्रों को अच्छी पढ़ाई करवाएंगे, मगर रामपुर के लोगों की तरफ़ से लगातार शिकायतें आ रही थी।”
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मंत्री धर्मपाल सिंह ने आगे कहा, “जिस लक्ष्य को लेकर विश्वविद्यालय के लिए ज़मीन ली गई थी, वह पूरा नहीं हुआ, सरकार ने इसके लिए क़रीब 146 कमरे 100 रुपये प्रति साल कमरे के हिसाब से किराए पर दिए थे, इस मामले की जांच एसआईटी से करवाई गई थी।”
धर्मपाल सिंह ने आगे कहा कि विश्वविद्यालय के नाम पर जगह को हड़पने का काम किया गया, इसके बाद कैबिनेट में ये रिपोर्ट लाई गई और सरकार ने रिपोर्ट को संज्ञान में लेकर ये फैसला किया है। उन्होंने बताया कि समाजवादी सरकार ने जो ज़मीन विश्वविद्यालय को दी थी, वह वापस ले ली गई है। उन्होंने इस दौरान यह भी बताया कि रामपुर के ग़रीब मुसलमान और आम जनता लगातार इसकी शिकायत कर रहे थे।
-PTC NEWS